सजने का हैं शौकीन कोई कसर ना रह जाए भजन लिरिक्स

सजने का हैं शौकीन,
कोई कसर ना रह जाए,
ऐसा कर दो श्रृंगार,
सब देखते रह जाए,
सजने का हैं शौकीन।।

सजने का हैं शौकीन कोई कसर ना रह जाए भजन लिरिक्स


जब सांवरा सजता हैं,
सारी दुनिया सजती हैं,
उसे इत्र छिड़कते हैं,
सारी दुनिया महकती हैं,
बागो का हर एक फूल,
गजरे में लग जाये,

ऐसा कर दो श्रृंगार,
सब देखते रह जाए,
सजने का हैं शौकीन।।


जब कान्हा मुस्काये,
शीशा भी चटक जाये,
चंदा भी दर्शन को,
धरती पे उतर जाये,
सूरज की किरणों से,
दरबार चमक जाये,

ऐसा कर दो श्रृंगार,
सब देखते रह जाए,
सजने का हैं शौकीन।।


क्या उसको सजाओगे,
जो सबको सजाता हैं,
क्या उसको खिलाओगे,
जो सबको खिलाता हैं,
बस भाव के सागर में,
मेरा श्याम डूब जाए,

ऐसा कर दो श्रृंगार,
सब देखते रह जाए,
सजने का हैं शौकीन।।


बस इतना ध्यान रखना,
इतना ना सज जाए,
इस सारी श्रष्टि की,
उसे नजर ना लग जाये,
ये ‘शुभम रूपम’ तेरे,
भावों के भजन गाये,

ऐसा कर दो श्रृंगार,
सब देखते रह जाए,
सजने का हैं शौकीन।।


सजने का हैं शौकीन,
कोई कसर ना रह जाए,
ऐसा कर दो श्रृंगार,
सब देखते रह जाए,
सजने का हैं शौकीन।।

सजने का हैं शौकीन कोई कसर ना रह जाए भजन लिरिक्स
सजने का हैं शौकीन कोई कसर ना रह जाए भजन लिरिक्स

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